
गुरुदीन वर्मा (जी.आजाद)
शिक्षक एवं साहित्यकार
बारां (राजस्थान)
मेरा नाम जी. आजाद है
———————————————————
मेरा नाम जी.आज़ाद है, मेरा काम जी.आज़ाद है।
गर हूँ अकेला, गम नहीं मुझको, दिल मेरा आबाद है।।
मेरा नाम जी.आज़ाद है—————-।।
मैं क्यों तुम्हारी पूजा करूँ, मैं क्यों तुम्हारी खिदमत करुं।
माना कि तुम खूबसूरत हो, मैं क्यों तुम्हारी तारीफ करुं।।
यदि अहम है तुमको इसका, भविष्य तुम्हारा बर्बाद है।
मेरा नाम जी.आज़ाद है—————–।।
मुझको क्या मतलब तुम्हारे महल से, मुझको क्या लेना तुम्हारी दौलत से।
जो पास है मेरे, उससे सुखी हूँ , मिलती है खुशियां मुझको इसी धन से।।
मुझे नहीं जरूरत तुम्हारे रहम की, तेरा नाम मेरे बाद है।
मेरा नाम जी.आज़ाद है—————–।।
कहता हूँ वही जो मुझको है पसंद, तुम्हारी पसंद से मुझको क्या लेना।
मैं क्यों फिक्र तुम्हारी करुं, तुम्हारे लिए तो दिल है एक खिलौना।।
चाहे मेरे नहीं है दोस्त यहाँ, लेकिन खुदा मेरे साथ है।
मेरा नाम जी.आज़ाद है—————–।।
नहीं हूँ निराश अपनी जिंदगी से, नहीं हूँ हताश मैं अपने सफर में।
लिखेंगे सभी कल मेरी दास्तां को, नहीं मैं उदास अपने मन में।।
गुलामी कल तुम मेरी करोगे, मेरी जिंदगी जिंदाबाद है।
मेरा नाम जी.आज़ाद है—————–।।